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अयोध्या: महाकुंभ से पहले राम मंदिर में दर्शन और प्रसाद वितरण के नियमों में बदलाव किए जाएंगे, जो मकर संक्रांति से लागू होंगे।

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अयोध्या राम मंदिर: महाकुंभ से पहले राम मंदिर में दर्शन व्यवस्था में बदलाव किए जा रहे हैं। वीआईपी श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को ध्यान में रखते हुए ट्रस्ट ने दर्शन की प्रक्रिया में सुधार किए हैं।

महाकुंभ को लेकर राम मंदिर ट्रस्ट ने श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या को देखते हुए सुविधाओं को बढ़ाने का काम शुरू कर दिया है। मकर संक्रांति से महाकुंभ का शुभारंभ होने जा रहा है, और इस अवसर पर श्रद्धालुओं की भीड़ को व्यवस्थित और सुगम बनाने के लिए कई अहम बदलाव किए गए हैं। विशेष रूप से वीआईपी दर्शन के लिए ट्रस्ट ने एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है। पहले जहां राम मंदिर में वीआईपी दर्शन के लिए 6 स्लॉट निर्धारित थे, अब उसे बढ़ाकर 7 कर दिया गया है। इसके अतिरिक्त, सुबह 11 से 12 बजे तक वीआईपी दर्शन के एक और स्लॉट की व्यवस्था की गई है, जिससे श्रद्धालुओं को अधिक सुविधा मिलेगी। इन बदलावों का उद्देश्य महाकुंभ के दौरान श्रद्धालुओं को बेहतर अनुभव देना और दर्शन की प्रक्रिया को और भी व्यवस्थित बनाना है।

इस समय राम मंदिर में रोजाना 70 से 80 हजार श्रद्धालु दर्शन कर रहे हैं। पर्व-त्योहारों व वीकेंड पर यह संख्या बढ़कर दोगुना हो जाती है। श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की ओर से पास के माध्यम से वीआईपी दर्शन की सुविधा है। इसके लिए ट्रस्ट दो तरह का पास जारी करता है। एक सुगम दर्शन पास व दूसरा विशिष्ट दर्शन पास। इन दोनों पास के माध्यम से श्रद्धालुओं को वीआईपी दर्शन की सुविधा प्राप्त होती है। साथ ही ट्रस्ट ने वीआईपी दर्शन के लिए छह पाली यानी स्लॉट भी निर्धारित कर रखा है। पहला स्लॉट सुबह सात से नौ बजे, फिर नौ से 11, दोपहर डेढ़ से तीन, तीन से पांच, पांच से सात और सात से नौ बजे का था। हर एक स्लॉट में पांच सौ पास जारी किए जाते हैं।

राम मंदिर में वीआईपी श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ने के कारण कभी-कभी सारे स्लॉट फुल हो जाते हैं, जिससे असुविधा होती है। इसे देखते हुए ट्रस्ट ने सुबह 11 से 12 बजे का एक नया वीआईपी दर्शन स्लॉट शुरू किया है। पहले, इस समय स्लॉट में दर्शन की सुविधा नहीं थी, क्योंकि 12:15 बजे रामलला की भोग आरती होती है और फिर 12:30 से 1:30 तक मंदिर बंद रहता है। राम मंदिर के ट्रस्टी डॉ़ अनिल मिश्र ने बताया कि वीआईपी श्रद्धालुओं की बढ़ती संख्या और आगामी महाकुंभ को ध्यान में रखते हुए दर्शन स्लॉट में वृद्धि की गई है।

महाकुंभ के दौरान राम मंदिर परिसर में श्रद्धालुओं के लिए प्रसाद काउंटर बढ़ाए जाएंगे। ट्रस्ट ने अनुमानित दो लाख श्रद्धालुओं की संख्या को देखते हुए, प्रसाद वितरण की सुविधा को बेहतर बनाने के लिए काउंटर की संख्या बढ़ाने की योजना बनाई है। मकर संक्रांति से काउंटरों की संख्या बढ़ा दी जाएगी, और चार काउंटरों के अलावा, प्रसाद पैकेटों की संख्या भी बढ़ाई जाएगी। तीन काउंटर श्रीराम जन्मभूमि पथ पर और एक वीआईपी दर्शन मार्ग पर बनाए जाएंगे। साथ ही, 14 जनवरी तक परिसर में चल रहे सड़क निर्माण और अन्य सुविधाओं को भी पूरा कर लिया जाएगा।

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Bihar News: बिहार में साइबर अपराध की शिकायतें अब 10 कैटेगरी में, जानें नए नियम

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Bihar News बिहार में साइबर अपराध तेजी से बढ़ता जा रहा है। इन घटनाओं को देखते हुए सरकार ने शिकायतों को दर्ज करने की प्रक्रिया में बदलाव किया है। अब साइबर हेल्पलाइन नंबर 1930 पर आने वाली शिकायतों को दस श्रेणियों में वर्गीकृत किया जाएगा जिनमें आधार आधारित पेमेंट सिस्टम यूपीआइ आधारित ठगी डीमैट या जमा करने से संबंधित धोखाधड़ी आदि शामिल हैं।

साइबर अपराध के बढ़ते दायरे और शिकायतों को देखते हुए इससे जुड़ी शिकायतों को दर्ज करने की व्यवस्था में बदलाव किया गया है। साइबर हेल्पलाइन नंबर 1930 पर आने वाली साइबर ठगी की शिकायतों का अब श्रेणी के आधार पर वर्गीकरण किया जाएगा। इसके लिए दस तरह की श्रेणी बनाई गई हैं। इन्हीं श्रेणियों के आधार पर प्राप्त सभी शिकायतों का पहले वर्गीकरण करने के बाद ही इन्हें दर्ज किया जाएगा।

इसको लेकर केंद्रीय गृह मंत्रालय के अंतर्गत काम करने वाले साइबर क्राइम रिकार्ड पोर्टल (एनसीआरपी) ने मानक संचालन नियमावली (एसओपी) जारी की है।

इस तरह के धोखाधड़ी शामिल

जानकारी के अनुसार, साइबर अपराध को लेकर जो श्रेणियां बनाई गई हैं, उनमें आधार आधारित पेमेंट सिस्टम, यूपीआइ आधारित ठगी, डीमैट या जमा करने से संबंधित धोखाधड़ी, फ्रॉड काल या फिशिंग, ई-वैलेट संबंधित धोखाधड़ी, व्यवसायी या आफर से जुड़े ई-मेल के जरिए, इंटरनेट बैंकिंग संबंधित ठगी, डेबिट या क्रेडिट कार्ड से किए जाने वाले अपराध और सिम स्वैप करके की जाने वाली धोखाधड़ी शामिल हैं।

इसके अलावा डिजिटल अरेस्ट, लाटरी जीतने, सदस्य बनाकर कमाई करने जैसे अन्य मामलों को दर्ज करने के लिए भी अलग श्रेणी बनाई गई है।

साइबर क्राइम से कैसे बचें

  • मजबूत और अद्वितीय पासवर्ड का उपयोग करें और उन्हें नियमित रूप से बदलें।
  • दो-कारक प्रमाणीकरण का उपयोग करें, जो आपके अकाउंट को अतिरिक्त सुरक्षा प्रदान करता है।
  • केवल सुरक्षित वेबसाइटों (HTTPS) पर जाएं और अनजान लिंक्स पर क्लिक न करें।
  • अपने डिवाइस पर वायरस स्कैनर स्थापित करें और नियमित रूप से स्कैन करें।
  • अपने ऑपरेटिंग सिस्टम और सॉफ्टवेयर को नियमित रूप से अपडेट करें।
  • अज्ञात ईमेलों को न खोलें और अनजान लिंक्स पर क्लिक न करें।
  • सोशल मीडिया पर अपनी व्यक्तिगत जानकारी साझा न करें और अनजान लोगों को अपने अकाउंट में जोड़ने से पहले सावधानी से विचार करें।
  • पब्लिक वाई-फाई नेटवर्क का उपयोग करते समय संवेदनशील जानकारी साझा न करें।
  • अपने महत्वपूर्ण डेटा का बैकअप नियमित रूप से बनाएं।
  • साइबर सुरक्षा के बारे में जागरूक रहें और अपने परिवार और मित्रों को भी जागरूक करें।

साइबर फ्रॉड होने पर क्या करें?

  • तुरंत रिपोर्ट करें: साइबर क्राइम की घटना होने पर तुरंत पुलिस या साइबर सेल में रिपोर्ट करें।
  • साइबर सेल को संपर्क करें: अपने क्षेत्र के साइबर सेल को संपर्क करें और उन्हें घटना की जानकारी दें।
  • पुलिस में एफआईआर दर्ज करें: पुलिस में एफआईआर दर्ज करें और घटना की जानकारी दें।
  • बैंक और क्रेडिट कार्ड कंपनी को संपर्क करें: यदि आपका बैंक अकाउंट या क्रेडिट कार्ड हैक हुआ है, तो तुरंत बैंक और क्रेडिट कार्ड कंपनी को संपर्क करें।
  • अपने अकाउंट को सुरक्षित करें: अपने अकाउंट को सुरक्षित करने के लिए तुरंत पासवर्ड बदलें और दो-कारक प्रमाणीकरण सक्षम करें।
  • साइबर सुरक्षा विशेषज्ञ से संपर्क करें: यदि आप साइबर क्राइम की घटना को समझने में असमर्थ हैं, तो साइबर सुरक्षा विशेषज्ञ से संपर्क करें।
  • अपने डेटा का बैकअप बनाएं: अपने महत्वपूर्ण डेटा का बैकअप बनाएं, ताकि यदि आपका डेटा हैक हो जाए, तो आप उसे पुनः प्राप्त कर सकें।
  • साइबर क्राइम की रिपोर्ट करने के लिए ऑनलाइन पोर्टल का उपयोग करें: भारत सरकार ने साइबर क्राइम की रिपोर्ट करने के लिए ऑनलाइन पोर्टल लॉन्च किया है, जिसे आप उपयोग कर सकते हैं।

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Bihar News: 12 साल की बच्ची को तीन दरिंदों ने मिलकर बनाया हवस का शिकार, पुलिस ने तीनों को पकड़ा

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पीड़िता की मां के लिखित आवेदन के आधार पर खरीक थाने में मामला दर्ज कर लिया गया है। परिजनों ने तीनों दरिंदों को कड़ी सजा देने की मांग की है। पीड़िता का मेडिकल जांच और न्यायालय में बयान दर्ज कराया गया है।

भागलपुर के नवगछिया स्थित खरीक थाना क्षेत्र में 12 साल की बच्ची के साथ तीन युवकों ने मिलकर सामूहिक दुष्कर्म की घटना को बुधवार को अंजाम दिया था। हालांकि,पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए घटना के कुछ ही घंटों के भीतर तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस सूत्रों के अनुसार, बुधवार शाम करीब सात बजे खरीक थाने को सूचना मिली कि बगड़ी गांव के एक खेत में तीन लड़कों ने एक 12 वर्षीय बच्ची के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया है।  

पुलिस ने गिरफ्तारी के विशेष टीम का किया था गठन
सूचना मिलते ही थानाध्यक्ष खरीक, अंचल निरीक्षक बिहपुर और एफएसएल टीम घटनास्थल पर पहुंचे।  घटना की गंभीरता को देखते हुए नवगछिया पुलिस अधीक्षक प्रेरणा कुमार के निर्देश पर अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी नवगछिया के नेतृत्व में एक विशेष टीम का गठन किया गया। इस टीम में अंचल निरीक्षक बिहपुर, थानाध्यक्ष खरीक, थाने के अन्य पदाधिकारी और टीआईयू टीम को शामिल किया गया।
गठित टीम ने त्वरित कार्रवाई करते हुए तकनीकी और मानवीय अनुसंधान के आधार पर घटना में शामिल तीनों आरोपियों को नवगछिया बस स्टैंड से गिरफ्तार कर लिया।

पीड़िता का मेडिकल जांच करवाया गया
पुलिस के अनुसार, गिरफ्तार आरोपियों की पहचान सूरज कुमार (उम्र 20 वर्ष), गुलशन कुमार (उम्र 22 वर्ष) और पवन यादव (उम्र 28 वर्ष) के रूप में हुई है।  पुलिस ने आरोपियों की निशानदेही पर घटना में प्रयुक्त एक वाहन को भी बरामद किया है। पीड़िता की मां के लिखित आवेदन के आधार पर खरीक थाने में मामला दर्ज कर लिया गया है। पीड़िता का मेडिकल जांच और न्यायालय में बयान दर्ज कराया गया है। पुलिस मामले की आगे की जांच कर रही है।

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Mahakumbh: सुपौल की महिला की प्रयागराज संगम में भगदड़ के कारण मौत, परिवार शोक में

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Supaul news: राघोपुर थाना क्षेत्र के रामविशनपुर पंचायत वार्ड 2 दहीपौड़ी गांव निवासी 73 वर्षीय गुलाबी देवी की प्रयागराज संगम में स्नान के दौरान हुई भगदड़ में मौत हो गई। उनका शव जब पहुंचा तो गांव में कोहराम मच गया। 

सुपौल जिले के राघोपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत रामविशनपुर पंचायत वार्ड 2 दहीपौड़ी गांव निवासी 73 वर्षीय गुलाबी देवी की प्रयागराज संगम में स्नान के दौरान हुई भगदड़ में मौत हो गई। गुरुवार दोपहर करीब 3:30 बजे उत्तर प्रदेश के एंबुलेंस से शव गांव पहुंचा, तो अंतिम दर्शन के लिए भारी भीड़ उमड़ पड़ी।

बुजुर्ग माता गंभीर रूप से घायल हो गईं
बताया जा रहा है कि गुलाबी देवी अपने छोटे पुत्र नारायण यादव और गांव के 20 अन्य लोगों के साथ प्रयागराज कुंभ स्नान के लिए गई थी। मंगलवार रात करीब डेढ़ बजे, जब वे संगम स्नान के लिए पैदल जा रहे थे, अचानक भगदड़ मच गई। भगदड़ में नारायण अपनी मां से लिपट गए, लेकिन भीड़ की धक्का-मुक्की में उनकी बुजुर्ग माता गंभीर रूप से घायल हो गईं। करीब डेढ़ घंटे तक कोई सहायता नहीं मिली, जिसके बाद प्रशासन ने एंबुलेंस की व्यवस्था कर उन्हें अस्पताल भेजा, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल
गुलाबी देवी के निधन के बाद उनके घर में कोहराम मचा हुआ है। परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। गुलाबी देवी के पति की दो साल पहले एक सड़क दुर्घटना में मृत्यु हो चुकी थी। उनके दो बेटे, पवन यादव और नारायण यादव, मजदूरी कर परिवार का भरण-पोषण करते हैं। घटना के दौरान छोटा बेटा नारायण यादव अपनी मां के साथ था। प्रशासन के सहयोग से शव को एक निजी एंबुलेंस और यूपी पुलिस कर्मी की देखरेख में सुपौल भेजा गया। जैसे ही शव गांव पहुंचा, स्थानीय लोग अंतिम दर्शन के लिए उमड़ पड़े।

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